Darshan
As low as
₹75.00
In stock
Only %1 left
SKU
9789355186850
"दर्शन -
ओ. एन. वी. की कविता भाव-सान्द्रता, अर्थ-गाम्भीर्य और चित्रगीतों की त्रिवेणी है। कवि ने अपनी सघन अनुभूतियों को सक्षम अभिव्यक्ति प्रदान की है और उसके लिए सरस कोमल पद-विन्यास, इतिहास-पुराणों पर आश्रित सघन बिम्ब, भावोत्तेजन में सहायक सादृश्य-मूलक अलंकार, नित्य नूतन प्रतीक, संगीतात्मकता एवं गेयता आदि का सहारा लिया है। उनकी प्रयुक्त पदावली अनायास निकली हुई है। ओ. एन. वी. के प्रतीकों में नयी अर्थवत्ता एवं प्रासंगिकता नयी गरिमा भरती है। अधिकांश प्रतीक प्राकृतिक परिवेश लिए हुए हैं। पतित पद्म, कोरे काग़ज़ पर खिले पुष्प, ग्रामीण पोखरे, मृत जड़ें, आग्नेय पंखोंवाले पक्षी, खिड़की, शार्ङगकपक्षी, किराये का घर, फ़ीनिक्स पक्षी सब के सब जीवन के नाना रूपों, भावों, विसंगतियों के प्रतीक बनकर आते हैं और इनमें से अधिकांश प्रतीक दुरूहता के दोष से मुक्त भी हैं। भाव एवं शिल्प की दृष्टि से कुरुप की कविता मलयालम साहित्य के विकास के क्रम में एक विशेष उपलब्धि है।
ऐसे कवि का संकलन प्रकाशित करने में भारतीय ज्ञानपीठ को विशेष प्रसन्नता है।
"